रायपुर,,, पियुष मिश्रा,,,छत्तीसगढ़ वन विभाग के अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक और जैव विविधता बोर्ड के सचिव अरुण कुमार पांडेय ने एक प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से जैव विविधता के संरक्षण और पर्यावरण के पुनः प्रचलन के विषय पर हुई चर्चा के बारे मीडिया को बताया। यह कार्यशाला नया रायपुर, अटल नगर के आरण्य भवन में दिनाँक 13 जून 2023 को आहुत हुई।
अरुण कुमार पांडेय ने बताया कि इस कार्यशाला में भारत के जाने-माने प्रतिष्ठित व्यक्ति इरेच भरूचा मुख्य वक्ता के रूप में शामिल हुए। इरेच भरूचा लगभग 45 वर्षों से प्रकृति और वन संरक्षण के क्षेत्र में कार्यरत हैं। वे पुणे स्थित भारती विद्यापीठ के पर्यावरण शिक्षा एवं शोध के निदेशक हैं। (पर्यावरण शिक्षा ऐसा विषय है जिसमें छात्रों को बताया जाता है कि प्राकृतिक पर्यावरण के तरीके और प्रदूषण मुक्त पर्यावरण को बनाए रखने के लिए पारिस्थितिकी तंत्र को कैसे व्यवस्थित रखना चाहिए। यह शिक्षा संबंधित चुनौतियों का सामना करने के लिए पर्यावरण शिक्षा आवश्यक कौशल और विशेष ज्ञान को प्रदान करता है।)
इस कार्यशाला में वनों और पर्यावरण संरक्षण के साथ ही नष्ट हुए वनों को पुनः उसी रूप में विकसित करने के नए तरीकों पर चर्चा हुई। प्राकृतिक पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में ऐसे प्रयास सही मायने में प्रसंशनीय हैं। छत्तीसगढ़ वन विभाग की यह पहल वाकई आनेवाले समय में वनों के संरक्षण और पुनः बहाली के क्षेत्र में सफल सिद्ध होगी।
इस कार्यशाला में छत्तीसगढ़ वन विभाग के प्रधान मुख्य वन संरक्षक और वन बल प्रमुख श्रीनिवास राव, छत्तीसगढ़ जैव विविधता बोर्ड के चेयरमैन राकेश चतुर्वेदी, छत्तीसगढ़ वन विभाग के अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक और जैव विविधता बोर्ड के सचिव अरुण कुमार पांडेय, फॉरेस्ट कन्वेंशन सोसाइटी से मीतू गुप्ता सहित आरण्य भवन के बहुत से अधिकारी उपस्थित थे।